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शुक्रवार, 18 सितंबर 2020

हिन्दी कहानी साइबर क्राइम भाग 1 | cyber crime in hindi | Story of cyber crime |साइबर अपराध हिंदी कहानी | Hindi short story |

                                    हिन्दी स्टोरी  

               साइबर क्राइम cyber crime

                    साइबर क्राइम कैसे होता है?

                            हैकिंग (एक साइबर क्राइम)

सारिका शायद इसी नाम से अजीत ने जोर से चीख कर बोला था किचन से भागती हुई एक पतली दुबली सुंदर सी लड़की हाथ मे बेलन लिए हुए शायद वो सारिका थी उसने घबरा के बोला क्या हुआ ?....

(ये कहानी दुनियां में हो रहे साइबर क्राइम को देखते हुए मैंने इसे लिखा है इस कहानी का मकसद किसी संस्था,नाम, व्यक्ति विषेश को ठेस पहुचना नही है अगर ऐसा लगता है तो ये महज़ इतेफाक है मुझे छमा करें।)

बात उन दिनों की है जब अजीत अपने बहन की शादी की तैयारियां कर रहा था बस कुछ ही दिन बचे थे शादी को घर में चारो तरफ खुशी का माहौल बना हुआ था और क्यूँ ना हो  रीना अजीत की इकलौती बहन जो थी मेहमानों का जमावड़ा लगा हुआ था फिर भी लॉकडाउन की वजह से भिड़ कुछ कम ही थी सारी तैयारियां हो चुकी थी बस कुछ चीजें थी जिसे ऑनलाइन ही बुक करना था।
तभी पीछे से किसी ने अजीत का कंधा थप थपाया अजीत पीछे मुडा तो रीना थी हाँ क्या हुआ अजीत ने पूछा,भाई मेरी एक ऑनलाइन कुर्ती बुक कर दो please रीना ने कहा,देख रीना इस वक़्त मेरे पास टाइम नही है लेकिन शाम को ज़रूर कर दूंगा अभी के लिए मुझे माफ़ कर दे,इतना कहकर अजीत अपने कामों में मशरूफ हो जाता है लेकिन रीना को शाम का बेसब्री से इन्तेज़ार था उसकी कुर्ती जो ऑर्डर होने वाली थी।
काम मे मसरूफियत इतनी जादा थी कि कब शाम हो गयी अजीत को पता ही नही चला, वो अपने कमरें में सोने की तैयारी कर ही रहा था कि तभी रीना ने कहा भाई इतनी भी बाहाने बाजी ठीक नही, चलो जल्दी से मेरी कुर्ती आर्डर करो,रुक जरा मैं अपना बिस्तर ठीक कर लूं फिर तेरी कुर्ती आर्डर करता हूँ , तभी रीना बोली बिस्तर मैं ठीक करती हूं आप कुर्ती पर ध्यान लगाओ अजीत ने अपना सेल फोन उठाया और रीना की कुर्ती आर्डर करने लगा कुर्ती कुछ खास महंगी नही थी सिर्फ 675 रूपये की थी उसने रीना को कुर्ती दिखाई ये वाली चाहिए तुम्हे, हाँ भाई यही चाहिए और अजीत ने आर्डर को कंफर्म (Confirm) कर दिया। डिलेवरी की तारीख शादी से दो दिन पहले की थी तभी अजीत ने अरे मेरा बिस्तर तो ठीक करके जा,आप खुद ठीक कर लो भाई मुझे नींद आ रही है अजीत मन ही मन मुस्कुराया और Ok Good Night कह कर खुद भी सो गया,शादी का माहौल था मश्रुफ़ियात कुछ जदा ही थी वक़्त का पता ही नही चल रहा था। 
रीना की शादी को सिर्फ दो दिन बचे है और अजीत आंगन
में बैठकर फैले हुए सामानों को समेट रहा था कि तभी  अजीत के मोबाइल में शायद कोई मैसेज आया, उसने मोबाइल को पैंट की जेब से निकला और ऊंची आवाज में रीना को आवाज दी,हाँ क्यों चीला रहे हो भाई यहीं तो हूँ रीना ने कहा,दो दिन और चीलला लेने दे फिर तो तुम पराई हो जाएगी फिर कहाँ मौका मिलेगा मुझे अजीत के इतना कहते ही रीना अजीत से लिपट कर रोने लगती है अजीत अपने आपको संभालते हुए रीना से कहता है अरे तुझे रोने के लिए थोड़े बुलाया है देख तेरी कुर्ती का मैसेज आया है आज उसकी डिलेवरी है और तू रो रही है हद है चल जा मेरे लिए एक कप अच्छी वाली चाये बना,जी भाई कहकर आँखों में आँशु लिए रीना किचन की तरफ चल देती है।
शाम का वक़्त था तकरीबन 6.00 बजे रहे थे जब अजीत के मोबाइल पर एक मैसेज आया उसमे लिखा था "अपना ऑडर received करने के लिए धन्यबाद" अजीत को बड़ी हैरत हुई उसने रीना को आवाज दी,हाँ भाई क्या हुआ तुम्हारी कुर्ती तुम्हे मिली तो बताया क्यों नही अजीत ने पूछा, रीना ने कहा क्या भाई  क्यूँ मजाक कर रहे हो मुझे मिली होती तो आपको बताती नही लेकिन कुर्ती तो किसी ने ले ली है अजीत ने कहा, रुको मैं पूछती हूँ सभी से,थोड़ी देर बाद रीना ने कहा भाई किसी ने नही ली आप उपभोक्ता के नम्बर (Customer care number)पर फोन करके पूछो रीना ने कहा ,अजीत ने अपना मोबाइल निकाला और गूगल पर Customer care का नम्बर ढूंढने लगा ।।......

         भाग 1 समाप्त।। भाग 2 के लिए  नीचे click करें 
         (आगे की कहानी के लिए बने रहिये मेरे साथ)

                                           धन्यवाद।।

         दिनाँक  16 सितम्बर 2020     समय 9.30 रात्रि

                                        रचना(लेखक)

                                अमित सागर(गोरखपुरी)



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